1 Samuel - 1 शमूएल 7 | View All

1. तब किर्यत्यारीम के लोगों ने जाकर यहोवा के सन्दूक को उठाया, और अबीनादाब के घर में जो टीले पर बना था रखा, और यहोवा के सन्दूक की रक्षा करने के लिये अबीनादाब के पुत्रा एलीआजार को पवित्रा किया।।

1. তাহাতে কিরিয়ৎ-যিয়ারীমের লোকেরা আসিয়া সদাপ্রভুর সিন্দুক তুলিয়া লইয়া গিয়া পর্ব্বতস্থিত অবীনাদবের বাটীতে রাখিল, এবং সদাপ্রভুর সিন্দুক রক্ষার্থে তাহার পুত্র ইলিয়াসরকে পবিত্র করিল।

2. किर्यत्यारीम में रहते रहते सन्दूक को बहुत दिन हुए, अर्थात् बीस वर्ष बीत गए, और इस्राएल का सारा घराना विलाप करता हुआ यहोवा के पीछे चलने लगा।

2. সদাপ্রভুর সিন্দুক কিরিয়ৎ-যিয়ারীমে স্থাপন দিনাবধি দীর্ঘকাল গেল, বিংশতি বৎসর গেল, আর সমস্ত ইস্রায়েল-কুল সদাপ্রভুর পশ্চাতে বিলাপ করিতে লাগিল।

3. तब शमूएल ने इस्राएल के सारे घराने से कहा, यदि तुम अपने पूर्ण मन से यहोवा की ओर फिरे हो, तो पराए देवताओं और अश्तोरेत देवियों को अपने बीच में से दूर करो, और यहोवा की ओर अपना मन लगाकर केवल उसी की उपासना करो, तब वह तुम्हें पलिश्तियों के हाथ से छुड़ाएगा।

3. তাহাতে শমূয়েল সমস্ত ইস্রায়েল-কুলকে কহিলেন, তোমরা যদি সর্ব্বান্তঃকরণে সদাপ্রভুর কাছে ফিরিয়া আইস, তবে আপনাদের মধ্য হইতে বিজাতীয় দেবগণকে ও অষ্টারোৎ দেবীগণকে দূর কর, ও সদাপ্রভুর দিকে আপন আপন অন্তঃকরণ সুস্থির কর, কেবল তাঁহারই সেবা কর; তাহা হইলে তিনি পলেষ্টীয়দের হস্ত হইতে তোমাদিগকে উদ্ধার করিবেন।

4. तब इस्राएलियों ने बाल देवताओं और अशतोरेत देवियों को दूर किया, और केवल यहोवा ही की उपासना करने लगे।।

4. তখন ইস্রায়েল-সন্তানগণ বাল দেবগণকে ও অষ্টারোৎ দেবীগণকে দূর করিয়া কেবল সদাপ্রভুর সেবা করিতে লাগিল।

5. फिर शमूएल ने कहा, सब इस्राएलियों को मिस्पा में इकट्ठा करो, और मैं तुम्हारे लिये यहोवा से प्रार्थना करूंगा।

5. পরে শমূয়েল কহিলেন, তোমরা সমস্ত ইস্রায়েলকে মিস্‌পাতে একত্র কর; আমি তোমাদের জন্য সদাপ্রভুর কাছে প্রার্থনা করিব।

6. तब वे मिस्पा में इकट्ठे हुए, और जल भरके यहोवा के साम्हने उंडेल दिया, और उस दिन उपवास किया, और वहां कहने लगे, कि हम ने यहोवा के विरूद्ध पाप किया है। और शमूएल ने मिस्पा में इस्राएलियों का न्याय किया।

6. তাহাতে তাহারা মিস্‌পাতে একত্র হইয়া জল তুলিয়া সদাপ্রভুর সম্মুখে ঢালিল, এবং সেই দিবস উপবাস করিয়া সে স্থানে কহিল, আমরা সদাপ্রভুর বিরুদ্ধে পাপ করিয়াছি। আর শমূয়েল মিস্‌পাতে ইস্রায়েল-সন্তানগণের বিচার করিতে লাগিলেন।

7. जब पलिश्तियों ने सुना कि इस्राएली मिस्पा में इकट्ठे हुए हैं, तब उनके सरदारों ने इस्राएलियों पर चढ़ाई की। यह सुनकर इस्राएली पलिश्तियों से भयभीत हुए।

7. পরে পলেষ্টীয়েরা যখন শুনিতে পাইল যে, ইস্রায়েল-সন্তানগণ মিস্‌পাতে একত্র হইয়াছে, তখন পলেষ্টীয়দের ভূপালগণ ইস্রায়েলের বিরুদ্ধে উঠিয়া আসিলেন; তাহা শুনিয়া ইস্রায়েল-সন্তানগণ পলেষ্টীয়দের হইতে ভীত হইল।

8. और इस्राएलियों ने शमूएल से कहा, हमारे लिये हमारे परमेश्वर यहोवा की दोहाई देना न छोड़, जिस से वह हम को पलिश्तियों के हाथ से बचाए।

8. আর ইস্রায়েল-সন্তানগণ শমূয়েলকে কহিল, আমাদের ঈশ্বর সদাপ্রভু পলেষ্টীয়দের হস্ত হইতে যেন আমাদিগকে নিস্তার করেন, এই জন্য আপনি তাঁহার কাছে আমাদের নিমিত্ত ক্রন্দন করিতে বিরত হইবেন না।

9. तब शमूएल ने एक दूधपिउवा मेम्ना ले सर्वांग होमबलि करके यहोवा को चढ़ाया; और शमूएल ने इस्राएलियों के लिये यहोवा की दोहाई दी, और यहोवा ने उसकी सुन ली।
इब्रानियों 11:32

9. তখন শমূয়েল দুগ্ধপোষ্য এক মেষবৎস লইয়া সদাপ্রভুর উদ্দেশে সর্ব্বাঙ্গ হোমবলি উৎসর্গ করিলেন, এবং শমূয়েল ইস্রায়েলের জন্য সদাপ্রভুর কাছে ক্রন্দন করিলেন; আর সদাপ্রভু তাঁহাকে উত্তর দিলেন।

10. और जिस समय शमूएल होमबलि हो चढ़ा रहा था उस समय पलिश्ती इस्राएलियों के संग युद्ध करने के लिये निकट आ गए, तब उसी दिन यहोवा ने पलिश्तियों के ऊपर बादल को बड़े कड़क के साथ गरजाकर उन्हें घबरा दिया; और वे इस्राएलियों से हार गए।

10. যে সময়ে শমূয়েল ঐ হোমবলি উৎসর্গ করিতেছিলেন, তখন পলেষ্টীয়েরা ইস্রায়েলের সহিত যুদ্ধ করিবার জন্য নিকটবর্ত্তী হইল। কিন্তু ঐ দিবসে সদাপ্রভু পলেষ্টীয়দের উপরে মহাবজ্রনাদে গর্জ্জন করিয়া তাহাদিগকে ব্যাকুল করিলেন; তাহাতে তাহারা ইস্রায়েলের সম্মুখে আহত হইল।

11. तब इस्राएली पुरूषों ने मिस्पा से निकलकर पलिश्तियों को खदेड़ा, और उन्हें बेतकर के नीचे तक मारते चले गए।

11. আর ইস্রায়েল লোকেরা মিস্‌পা হইতে বাহির হইয়া পলেষ্টীয়দের পশ্চাতে পশ্চাতে তাড়া করিয়া বৈৎ-করের নীচে পর্য্যন্ত তাহাদিগকে আঘাত করিল।

12. तब शमूएल ने एक पत्थर लेकर मिस्पा और शेन के बीच में खड़ा किया, और यह कहकर उसका नाम एबेनेजेर रखा, कि यहां तक यहोवा ने हमारी सहायता की है।

12. তখন শমূয়েল একখানা প্রস্তর লইয়া মিস্‌পার ও শেনের মধ্যস্থানে স্থাপন করিলেন, এবং এ পর্য্যন্ত সদাপ্রভু আমাদের সাহায্য করিয়াছেন, এই বলিয়া তাহার নাম এবন-এষর [সাহায্যের প্রস্তর] রাখিলেন।

13. तब पलिश्ती दब गए, और इस्राएलियों के देश में फिर न आए, और शमूएल के जीवन भर यहोवा का हाथ पलिश्तियों के विरूद्ध बना रहा।

13. এই প্রকারে পলেষ্টীয়েরা নত হইল, এবং ইস্রায়েলের অঞ্চলে আর আসিল না। আর শমূয়েলের সমস্ত কালে সদাপ্রভুর হস্ত পলেষ্টীয়দের বিরুদ্ধে ছিল।

14. और एक्रोन और गत तक जितने नगर पलिश्तियों ने इस्राएलियों के हाथ से छीन लिए थे, वे फिर इस्राएलियों के वश में आ गए; और उनका देश भी इस्राएलियों ने पलिश्तियों के हाथ से छुड़ाया। और इस्राएलियों और एमोरियों के बीच भी सन्धि हो गई।

14. আর পলেষ্টীয়েরা ইস্রায়েল হইতে যে সমস্ত নগর হরণ করিয়াছিল, ইক্রোণ অবধি গাৎ পর্য্যন্ত সেই সকল পুনর্ব্বার ইস্রায়েলের হাতে ফিরিয়া আসিল; এবং ইস্রায়েল সেই সমস্তের অঞ্চল পলেষ্টীয়দের হস্ত হইতে উদ্ধার করিল। আর ইমোরীয়দের সহিত ইস্রায়েলের সন্ধি হইল।

15. और शमूएल जीवन भर इस्राएलियों का न्याय करता रहा।

15. শমূয়েল যাবজ্জীবন ইস্রায়েলের বিচার করিলেন।

16. वह प्रति वर्ष बेतेल और गिलगाल और मिस्पा में घूम- घूमकर उन सब स्थानों में इस्राएलियों का न्याय करता था।

16. তিনি প্রতিবৎসর বৈথেলে, গিল্‌গলে ও মিস্‌পাতে পরিভ্রমণ করিয়া সেই সকল স্থানে ইস্রায়েলের বিচার করিতেন।

17. तब वह रामा में जहां उसका घर था लौट आया, और वहां भी इस्राएलियों का न्याय करता था, और वहां उस ने यहोवा के लिये एक वेदी बनाई।।

17. পরে তিনি রামাতে ফিরিয়া আসিতেন, কেননা সেই স্থানে তাঁহার বাটী ছিল, এবং সেই স্থানে তিনি ইস্রায়েলের বিচার করিতেন; আর তিনি সেই স্থানে সদাপ্রভুর উদ্দেশে এক যজ্ঞবেদি নির্ম্মাণ করেন।



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