9. यह जानकर कि व्यवस्था धर्मी जन के लिये नहीं, पर अधर्मियों, निरंकुशों, भक्तिहीनों, पापीयों, अपवित्रों और अशुद्धों, मां- बाप के घात करनेवालों, हत्यारों।
9. vnderstodinge this, that the lawe is not geuen vnto the righteous, but to the vnrighteous & dishobedient, to the vngodly & to synners, to the vnholy & vncleane, to murthurers of fathers and murthurers of mothers, to manslayers,