15. पर जैसा अपराध की दशा है, वैसी अनुग्रह के बरदान की नहीं, क्योंकि जब एक मनुष्य के अपराध से बहुत लोग मरे, तो परमेश्वर का अनुग्रह और उसका जो दान एक मनुष्य के, अर्थात् यीशु मसीह के अनुग्रह से हुआ बहुतेरे लागों पर अवश्य ही अधिकाई से हुआ।
15. But not as the offence, so also is the free gift. For if through the offence of one many be dead, much more the grace of YHWH, and the gift by grace, which is by one man, Yahushua the Messiah, hath abounded unto many.