28. परन्तु जब वह दास बाहर निकला, तो उसके संगी दासों में से एक उस को मिला, जो उसके सौ दीनार धारता था; उस ने उसे पकड़कर उसका गला घोंटा, और कहा; जो कुछ तू धारता है भर दे।
28. But when that same servant went out, he found one of his fellow servants who owed him a hundred denarii, and seizing him, he began to choke him, saying, 'Pay what you owe.'