13. वही यहोवा के मन्दिर को बनाएगा, और महिमा पाएगा, और अपने सिंहासन पर विराजमान होकर प्रभुता करेगा। और उसके सिंहासन के पास एक याजक भी रहेगा, और दोनों के बीच मेल की सम्मति होगी।
13. 'Yes, it is He who will build the temple of the LORD, and He who will bear the honor and sit and rule on His throne. Thus, He will be a priest on His throne, and the counsel of peace will be between the two offices.''