3. वे बोले, यदि तुम इस्राएल के देवता का सन्दूक वहां भेजा, जो उसे वैसे ही न भेजना; उसकी हानि भरने के लिये अवश्य ही दोषबलि देना। तब तुम चंगे हो जाओगे, और तुम जान लोगों कि उसका हाथ तुम पर से क्यों नहीं उठाया गया।
3. And they said, If you send away the ark of the God of Israel, do not send it without an offering, but send him a sin-offering with it: then you will have peace again, and it will be clear to you why the weight of his hand has not been lifted from you.