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1. हे यहोवा क्रोध में आकर मुझे झिड़क न दे, और न जलजलाहट में आकर मेरी ताड़ना कर!
1. Pvt me not to rebuke (Oh LORDE) in thine anger: Oh chaste me not in thy heuy displeasure.
2. क्योंकि तेरे तीर मुझ में लगे हैं, और मैं तेरे हाथ के नीचे दबा हूं।
2. For thy arowes stick fast in me, and thy honde presseth me sore.
3. तेरे क्रोध के कारण मेरे शरीर में कुछ भी आरोग्यता नहीं; और मेरे पाप के कारण मेरी हडि्डयों में कुछ भी चैन नहीं।
3. There is no whole parte in my body, because of thy displeasure: there is no rest in my bones, by reason of my synnes.
4. क्योंकि मेरे अधर्म के कामों में मेरा सिर डूब गया, और वे भारी बोझ की नाई मेरे सहने से बाहर हो गए हैं।।
4. For my wickednesses are gone ouer my heade, and are like a sore burthen, to heuy forme to beare.
5. मेरी मूढ़ता के कारण से मेरे कोड़े खाने के घाव बसाते हैं और सड़ गए हैं।
5. My woundes styncke & are corrupte, thorow my folishnesse.
6. मैं बहुत दुखी हूं और झूक गया हूं; दिन भर मैं शौक का पहिरावा पहिने हुए चलता फिरता हूं।
6. I am brought into so greate trouble and misery, that I go mournynge all the daye longe.
7. क्योंकि मेरी कमर में जलन है, और मेरे शरीर में आरोग्यता नहीं।
7. For my loynes are clene dried vp, and there is no whole parte in my body.
8. मैं निर्बल और बहुत ही चूर हो गया हूं; मैं अपने मन की घबराहट से कराहता हूं।।
8. I am feble and sore smytte, I roare for the very disquietnes of my hert.
9. हे प्रभु मेरी सारी अभिलाषा तेरे सम्मुख है, और मेरा कराहना तुझ से छिपा नहीं।
9. LORDE, thou knowest all my desyre, & my gronynge is not hyd from the.
10. मेरा हृदय धड़कता है, मेरा बल घटता जाता है; और मेरी आंखों की ज्योति भी मुझ से जाती रही।
10. My hert paunteth, my strength hath fayled me, & the light of myne eyes is gone fro me.
11. मेरे मित्रा और मेरे संगी मेरी विपत्ति में अलग हो गए, और मेरे कुटुम्बी भी दूर जा खड़े हुए।।लूका 23:49
11. My louers & frendes stonde lokynge vpon my trouble, and my kynsmen are gone a farre of.
12. मेरे प्राण के ग्राहक मेरे लिये जाल बिछाते हैं, और मेरी हाति के यत्न करनेवाले दुष्टता की बातें बोलते, और दिन भर छल की युक्ति सोचते हैं।
12. They that sought after my life, and to do me euell, spake of lyes and ymagined disceate all the daye longe.
13. परन्तु मैं बहिरे की नाई सुनता ही नहीं, और मैं गूंगे के समान मूंह नहीं खोलता।
13. As for me, I was like a deaf ma, and herde not: and as one that were domme, not openynge his mouth.
14. वरन मैं ऐसे मनुष्य के तुल्य हूं जो कुछ नहीं सुनता, और जिसके मुंह से विवाद की कोई बात नहीं निकलती।।
14. I am become as a man that heareth not, and that can make no resistaunce wt his mouth.
15. परन्तु हे यहोवा, मैं ने तुझ ही पर अपनी आशा लगाई है; हे प्रभु, मेरे परमेश्वर, तू ही उत्तर देगा।
15. For in the (O LORDE) is my trust, thou shalt heare me, O LORDE my God.
16. क्योंकि मैं ने कहा, ऐसा न हो कि वे मुझ पर आनन्द करें; जो, जब मेरा पांव फिसल जाता है, तब मुझ पर अपनी बड़ाई मारते हैं।।
16. My desyre is, yt myne enemies triumphe not ouer me: for yf my fote slippe, they reioyse greatly against me.
17. क्योंकि मैं तो अब गिरने ही पर हूं, और मेरा शोक निरन्तर मेरे साम्हने है।
17. I am redy to suffre trouble, and my heuynesse is euer in my sight.
18. इसलिये कि मैं तो अपने अधर्म को प्रगट करूंगा, और अपने पाप के कारण खेदित रहूंगा।
18. For I cofesse my wickednesse, & my synne greueth me.
19. परन्तु मेरे शत्रु फुर्तीले और सामर्थी हैं, और मेरे विरोधी बैरी बहुत हो गए हैं।
19. But myne enemies lyue, and are mightie: and they that hate me without a cause, are many in nombre.
20. जो भलाई के बदले में बुराई करते हैं, वह भी मेरे भलाई के पीछे चलने के कारण मुझ से विरोध करते हैं।।
20. They that rewarde me euell for good, speake euell of me, because I folowe the thinge that good is.
21. हे यहोवा, मुझे छोड़ न दे! हे मेरे परमेश्वर, मुझ से दूर न हो!
21. Forsake me not (O LORDE my God) O go not farre fro me.
22. हे यहोवा, हे मेरे उद्वारकर्त्ता, मेरी सहायता के लिये फुर्ती कर!
22. Haist the to helpe me, O LORDE my succoure.