26. तेरे पिता के आशीर्वाद मेरे पितरों के आशीर्वाद से अधिक बढ़ गए हैं और सनातन पहाड़ियों की मन- चाही वस्तुओं की नाई बने रहेंगे : वे यूसुफ के सिर पर, जो अपने भाइयों में से न्यारा हुआ, उसी के सिर के मुकुट पर फूले फलेंगे।।
26. The blessings of thy father, have prevailed, Over the blessings of the perpetual mountains, The charm of the age-abiding hills, They turn out to be, for the head of Joseph, And for the crown of the head of him who was set apart from his brethren.