22. वह बादल चाहे दो दिन, चाहे एक महीना, चाहे वर्ष भर, जब तक निवास पर ठहरा रहता तब तक इस्त्राएली अपने डेरों में रहते और प्रस्थान नहीं करते थे; परन्तु जब वह उठ जाता तब वे प्रस्थान करते थे।
22. Whether two days, or a month, or days, when the cloud tarried over the tabernacle, to remain over it, the sons of Israel remained in camp, and did not pull up stakes. And when it was lifted up, they pulled up stakes.