11. जब वे तुम्हें ले जाकर सौंपेंगे, तो पहिले से चिन्ता न करना, कि हम क्या कहेंगे; पर जो कुछ तुम्हें उसी घड़ी बताया जाए, वही कहना; क्योंकि बोलनेवाले तुम नहीं हो, परन्तु पवित्रा आत्मा है।
11. 'But when they arrest [you] and deliver you up, do not worry beforehand, or premeditate what you will speak. But whatever is given you in that hour, speak that; for it is not you who speak, but the Holy Spirit.