Judges - न्यायियों 7 | View All

1. तब गिदोन जो यरूब्बाल भी कहलाता है और सब लोग जो उसके संग थे सवेरे उठे, और हरोद नाम सोते के पास अपने डेरे खड़े किए; और मिद्यानियों की छावनी उनकी उत्तरी ओर मोरे नाम पहाड़ी के पास तराई में पड़ी थी।।

1. Then Jerubbaal, who is Gideon, and all the people who were with him, rose up early, and encamped beside the spring of Harod: and the camp of Midian was on the north side of them, by the hill of Moreh, in the valley.

2. तब यहोवा ने गिदोन से कहा, जो लोग तेरे संग हैं वे इतने हैं कि मैं मिद्यानियों को उनके हाथ नहीं कर सकता, नहीं तो इस्राएल यह कहकर मेरे विरूद्ध अपनी बड़ाई मारने लगे, कि हम अपने ही भुजबल के द्वारा बचे हैं।

2. And Yahweh said to Gideon, The people who are with you are too many for me to give the Midianites into their hand, or else Israel will vaunt themselves against me, saying, My own hand has saved me.

3. इसलिये तू जाकर लोगों में यह प्रचार करके सुना दे, कि जो कोई डर के मारे थरथराता हो, वह गिलाद पहाड़ से लौटकर चला जाए। तब बाईस हजार लोग लौट गए, और केवल दस हजार रह गए।

3. Now therefore proclaim in the ears of the people, saying, Whoever is fearful and trembling, let him return and depart early from Mount Gilead. And there returned of the people twenty and two thousand; and there remained ten thousand.

4. फिर यहोवा ने गिदोन से कहा, अब भी लोग अधिक हैं; उन्हें सोते के पास नीचे ले चल, वहां मैं उन्हें तेरे लिये परखूंगा; और जिस जिसके विषय में मैं तुझ से कहूं, कि यह तेरे संग चले, वह तो तेरे संग चले; और जिस जिसके विषय मे मैं कहूं, कि यह तेरे संग न जाए, वह न जाए।

4. And Yahweh said to Gideon, The people are yet too many; bring them down to the water, and I will try them for you there: and it will be, that of whom I say to you, This will go with you, the same will go with you; and of whomever I say to you, This will not go with you, the same will not go.

5. तब वह उनको सोते के पास नीचे ले गया; वहां यहोवा ने गिदोन से कहा, जितने कुत्ते की नाई जीभ से पानी चपड़ चपड़ करके पीएं उनको अलग रख; और वैसा ही उन्हें भी जो घुटने टेककर पीएं।

5. So he brought down the people to the water: and Yahweh said to Gideon, Everyone who laps of the water with his tongue, as a dog laps, him you will set by himself; likewise everyone who bows down on his knees to drink.

6. जिन्हों ने मुंह में हाथ लगा चपड़ चपड़ करके पानी पिया उनकी तो गिनती तीन सौ ठहरी; और बाकी सब लोगों ने घुटने टेककर पानी पिया।

6. And the number of those who lapped, putting their hand to their mouth, was three hundred men: but all the rest of the people bowed down on their knees to drink water.

7. तब यहोवा ने गिदोन से कहा, इन तीन सौ चपड़ चपड़ करके पीनेवालों के द्वारा मैं तुम को छुड़ाऊंगा, और मिद्यानियों को तेरे हाथ में कर दूंगा; और सब लोग अपने अपने स्थान को लौट जाए।

7. And Yahweh said to Gideon, By the three hundred men who lapped I will save you+, and deliver the Midianites into your hand; and let all the people go every man to his place.

8. तब उन लोगों ने हाथ में सीधा और अपने अपने नरसिंगे लिए; और उस ने इस्राएल के सब पुरूषों को अपने अपने डेरे की ओर भेज दिया, परन्तु उन तीन सौ पुरूषों को अपने पास रख छोड़ा; और मिद्यान की छावनी उसके नीचे तराई में पड़ी थी।।

8. And they took the provisions of the people in their hand, and their trumpets; and he sent all the men of Israel every man to his tent, but retained the three hundred men: and the camp of Midian was beneath him in the valley.

9. उसी रात को यहोवा ने उस से कहा, उठ, छावनी पर चढ़ाई कर; क्योंकि मैं उसे तेरे हाथ कर देता हूं।

9. And it came to pass the same night, that Yahweh said to him, Arise, go down into the camp; for I have delivered it into your hand.

10. परन्तु यदि तू चढ़ाई करते डरता हो, तो अपने सेवक फूरा को संग लेकर छावनी के पास जाकर सुन,

10. But if you fear to go down, you and Purah your attendant go down to the camp:

11. कि वे क्या कह रहे है; उसके बाद तुझे उस छावनी पर चढ़ाई करने का हियाव होगा। तब वह अपने सेवक फूरा को संग ले उन हथियार- बन्दों के पास जो छावनी की छोर पर थे उतर गया।

11. and you will hear what they say; and afterward your hands will be strengthened to go down into the camp. Then went he down with Purah his attendant to the outermost part of the armed men who were in the camp.

12. मिद्यानी और अमालेकी और सब पूर्वी लोग तो टिडि्डयों के समान बहुत से तराई में फैले पड़े थे; और उनके ऊंट समुद्रतीर के बालू के किनकों के समान गिनती से बाहर थे।

12. And the Midianites and the Amalekites and all the sons of the east lay along in the valley like locusts for multitude; and their camels were without number, as the sand which is on the seashore for multitude.

13. जब गिदोन वहां आया, तब एक जन अपने किसी संगी से अपना स्वप्न यों कह रहा था, कि सुन, मैं ने स्वप्न में क्या देखा है कि जौ की एक रोटी लुढ़कते लुढ़कते मिद्यान की छावनी में आई, और डेरे को ऐसा टक्कर मारा कि वह गिर गया, और उसको ऐसा उलट दिया, कि डेरा गिरा पड़ा रहा।

13. And when Gideon came, look, there was a man telling a dream to his fellow soldier; and he said, Look, I dreamed a dream; and saw that a cake of barley bread tumbled into the camp of Midian, and came to the tent, and struck it so that it fell, and turned it upside down, so that the tent lay flat.

14. उसके संगी ने उत्तर दिया, यह योआश के पुत्रा गिदोन नाम एक इस्राएली पुरूष की तलवार को छोड़ कुछ नहीं है; उसी के हाथ में परमेश्वर ने मिद्यान को सारी छावनी समेत कर दिया है।।

14. And his fellow soldier answered and said, This is nothing else but the sword of Gideon the son of Joash, a man of Israel: into his hand God has delivered Midian, and all the host.

15. उस स्वप्न का वर्णन और फल सुनकर गिदोन ने दण्डवत् की; और इस्राएल की छावनी में लौटकर कहा, उठो, यहोवा ने मिद्यानी सेना को तुम्हारे वश में कर दिया है।

15. And it was so, when Gideon heard the telling of the dream, and its interpretation, that he worshiped; and he returned into the camp of Israel, and said, Arise; for Yahweh has delivered into your+ hand the host of Midian.

16. तब उस ने उन तीन सौ पुरूषों के तीन झुण्ड किए, और एक एक पुरूष के हाथ में एक नरसिंगा और खाली घड़ा दिया, और घड़ों के भीतर एक मशाल थी।

16. And he divided the three hundred men into three companies, and he put into the hands of all of them trumpets, and empty pitchers, with torches inside the pitchers.

17. फिर उस ने उन से कहा, मुझे देखो, और वैसा ही करो; सुनो, जब मैं उस छावनी की छोर पर पहुंचूं, तब जैसा मैं करूं वैसा ही तुम भी करना।

17. And he said to them, Look at me, and do likewise: and, see, when I come to the outermost part of the camp, it will be that, as I do, so you+ will do.

18. अर्थात् जब मैं और मेरे सब संगी नरसिंगा फूंकें तब तुम भी छावनी की चारों ओर नरसिंगे फूंकना, और ललकारना, कि यहोवा की और गिदोन की तलवार।।

18. When I blow the trumpet, I and all who are with me, then you+ blow the trumpets also on every side of all the camp, and say, For Yahweh and for Gideon.

19. बीचवाले पहर के आदि में ज्योंही पहरूओं की बदली हो गई थी त्योहीं गिदोन अपने संग के सौ पुरूषों समेत छावनी की छोर पर गया; और नरसिंगे को फूंक दिया और अपने हाथ के घड़ों को तोड़ डाला।

19. So Gideon, and the hundred men who were with him, came to the outermost part of the camp in the beginning of the middle watch, when they had but newly set the watch: and they blew the trumpets, and broke in pieces the pitchers that were in their hands.

20. तब तीनों झुण्डों ने नरसिंगों को फूंका और घड़ों को तोड़ डाला; और अपने अपने बाएं हाथ में मशाल और दहिने हाथ में फूंकने को नरसिंगा लिए हुए चिल्ला उठे, यहोवा की तलवार और गिदोन की तलवार।

20. And the three companies blew the trumpets, and broke the pitchers, and held the torches in their left hands, and the trumpets in their right hands with which to blow; and they cried, A sword of Yahweh and of Gideon.

21. तब वे छावनी के चारों ओर अपने अपने स्थान पर खड़े रहे, और सब सेना के लोग दौड़ने लगे; और उन्हों ने चिल्ला चिल्लाकर उन्हें भगा दिया।

21. And they stood every man in his place round about the camp; and all the host ran; and they shouted, and put [them] to flight.

22. और उन्हों ने तीन सौ नरसिंगों को फूंका, और यहोवा ने एक एक पुरूष की तलवार उसके संगी पर और सब सेना पर चलवाई; तो सेना के लोग सरेरा की ओर बेतशित्ता तब और तब्बात के पास के आबेलमहोला तक भाग गए।

22. And they blew the three hundred trumpets, and Yahweh set every man's sword against his fellow soldier, and against all the host; and the host fled as far as Beth-shittah toward Zererah, as far as the border of Abel-meholah, by Tabbath.

23. तब इस्राएली पुरूष नप्ताली और आशेर और मनश्शे के सारे देश से इकट्ठे होकर मिद्यानियों के पीछे पड़े।

23. And the men of Israel were gathered together out of Naphtali, and out of Asher, and out of all Manasseh, and pursued after Midian.

24. और गिदोन ने एप्रैम के सब पहाड़ी देश में यह कहने को दूत भेज दिए, कि मिद्यानियों से मुठभेड़ करने को चले आओ, और यरदन नदी के घाटों को बेतबारा तक उन से पहिले अपने वश में कर लो। तब सब एप्रैमी पुरूषों ने इकट्ठे होकर यरदन नदी को बेतबारा तक अपने वश में कर लिया।

24. And Gideon sent messengers throughout all the hill-country of Ephraim, saying, Come down against Midian, and take the waters before them, as far as Beth-barah, even the Jordan. So all the men of Ephraim were gathered together, and took the waters as far as Beth-barah, even the Jordan.

25. और उन्हों ने ओरेब और जेब नाम मिद्यान के दो हाकिमों को पकड़ा; और ओरेब को ओरेब नाम चट्टान पर, और जेब को जेब नाम दाखरस के कुण्ड पर घात किया; और वे मिद्यानियों के पीछे पड़े; और ओरेब और जेब के सिर यरदन के पार गिदोन के पास ले गए।।

25. And they took the two princes of Midian, Oreb and Zeeb; and they slew Oreb at the rock of Oreb, and Zeeb they slew at the wine press of Zeeb, and pursued Midian: and they brought the heads of Oreb and Zeeb to Gideon beyond the Jordan.



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