3. मैं तो यहूदी मनुष्य हूं, जो किलिकिया के तरसुस में जन्मा; परन्तु इस नगर में गमलीएल के पांवों के पास बैठकर पढ़ाया गया, और बापदादों की व्यवस्था की ठीक रीति पर सिखाया गया; और परमेश्वर के लिये ऐसी धुन लगाए था, जैसे तुम सब आज लगाए हो।
3. And he said: I am verily a man which am a jew, born in Tharsus, a city in Cicill, nevertheless yet brought up in this city, at the feet of Gamaliel, and informed diligently in the law of the fathers, and was fervent minded to Godward, as ye all are this same day,